नितिन गडकरी ने एमएसएमई के योगदान को बढ़ाकर जीडीपी का 50 प्रतिशत करने की प्रतिबद्धता व्‍यक्‍त की

रिपोर्ट - अजीत कुमार


 



 


केन्‍द्रीय सूक्ष्‍म, लघु और मध्‍यम उद्यम तथा सड़क परिवहन व राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने दिल्‍ली में आयोजित एमएसएमई दिवस 2019 समारोह और दूसरे अंतर्राष्‍ट्रीय एसएमई सम्‍मेलन का उद्घाटन किया। इस अवसर पर गडकरी ने कहा कि देश को पांच ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्‍यवस्‍था बनाने का प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी का सपना केवल तभी पूरा हो सकता है, जब देश में एमएसएमई क्षेत्र के विकास को सुनिश्‍चित किया जाये। उन्‍होंने कहा कि आने वाले वर्षों में एमएसएमई के योगदान को बढ़ाकर जीडीपी का 50 प्रतिशत करने के प्रयास किये जाएंगे। वर्तमान में देश की जीडीपी में  एमएसएमई का योगदान 29 प्रतिशत है। इसके अतिरिक्‍त एमएसएमई क्षेत्र में 15 करोड़ लोगों को रोजगार दिया जायेगा। वर्तमान में 11.1 करोड़ लोग एमएसएमई क्षेत्र में कार्यरत हैं।


सरकार एमएसएमई क्षेत्र के विकास हेतु बेहतर अवसर प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। गडकरी ने कहा कि क्षेत्र में अनुसंधान और नवाचार को बढ़ावा देने की आवश्‍यकता है। आधुनिकतम तकनीक और सर्वोत्‍तम अभ्‍यास प्राप्‍त करने के लिए विश्‍व स्‍तर की कंपनियों के साथ समझौते किये जाने चाहिए। इसके साथ ही उत्‍पादों के विपणन को भी बढ़ावा दिया जाना चाहिए। गडकरी ने एक नई वेब-साइट बनाने का प्रस्‍ताव दिया, जहां लोग अपने नये विचार, सुझाव आदि उपलब्‍ध करा सकें।


एमएसएमई मंत्री गडकरी ने कहा कि अलीबाबा के तर्ज पर एक पोर्टल विकसित करने की योजना है, जहां सभी हितधारक मांग और आपूर्ति संबंधी जानकारी प्राप्‍त कर सकते हैं। गडकरी ने कहा कि एमएसएमई के तहत ग्रामीण और कृषि क्षेत्रों पर विशेष ध्‍यान देने की आवश्‍यकता है। उन्‍होंने कहा कि अंतर्राष्‍ट्रीय एसएमई सम्‍मेलन उद्यम विकास पर विचार करने और सर्वोत्‍तम अभ्‍यासों को साझा करने का एक महत्‍वपूर्ण मंच साबित हो सकता है।


केन्‍द्रीय सूक्ष्‍म, लघु और मध्‍यम उद्यम तथा पशु पालन, डेयरी व मत्‍स्‍य पालन राज्‍य मंत्री प्रताप चन्‍द्र सारंगी ने कहा कि उन्‍हें इस बात की प्रसन्‍नता है कि इतनी बड़ी संख्‍या में लोग अपने उद्यम संचालित कर रहे हैं और लोगों को रोजगार देने की स्थिति में है। उन्‍होंने कहा कि यह क्षेत्र से तेजी से बदल रहा है। जीएसटी लागू होने के बाद बड़ी संख्‍या में सूक्ष्‍म और लघु उद्यमों ने औपचारिक अर्थव्‍यवस्‍था के अंतर्गत व्‍यवसाय प्रारंभ किया है। यह एक अच्‍छा संकेत है। इस अवसर पर श्री सारंगी ने छठे इंडिया एसएमई अवार्ड के तहत 100 एसएमई को पुरस्‍कार प्रदान किये। इस पुरस्‍कार के लिए देश से 34,001 नामांकन आये थे।


इस सम्‍मेलन में 1200 चयनित उद्यमी भाग ले रहे हैं। 44 देशों के 175 प्रतिभागी तथा यूरोप, अफ्रीका और दक्षिण अमरीकी देशों के 15 राजदूत इस सम्‍मेलन में भाग ले रहे हैं। सम्‍मेलन में भाग लेने वाले देश हैं- बहरीन, मालदीव, इटली, हंगरी, ऑस्ट्रिया, सैन मैरिनो, श्रीलंका, अमरीका, पुर्तगाल, ट्यूनीशिया, अल सल्वाडोर, सूडान, संयुक्त अरब अमीरात, जिम्बाब्वे, गैबॉन, पेरू, पनामा, ग्वाटेमाला, ईरान, अर्जेंटीना, कनाडा, भूटान, मलावी, न्यूजीलैंड, फिजी, स्पेन, कोलम्बिया, उज्बेकिस्तान, यूक्रेन, सेनेगल, सऊदी अरब और रवांडा।


बी2बी बैठकों के लिए विशेष महत्‍व वाले प्रमुख क्षेत्र हैं- कृषि व्‍यापार, मशीनरी और खाद्य प्रसंस्‍करण, औद्योगिक, यांत्रिक और विद्यत इंजीनियरिंग, मशीनरी, उपकरण और औजार, परिवहन और स्‍वचालित परिवहन, अपशिष्‍ट, जल, नवीकरणीय ऊर्जा, औषधि, जैवप्रौद्योगिकी समेत स्‍वच्‍छ तकनीक, आरोग्‍य और स्‍वास्‍थ्‍य देखभाल, इलेक्ट्रॉनिक उपकरण, परिधान, वस्‍त्र, चर्म उद्योग, उपभोक्‍ता और औद्योगिक इलैक्‍ट्रानिक्‍स, डिजाइन एवं विनिर्माण, अवसंरचना एवं निर्माण, पर्यटन और आतिथ्‍य, लॉजिस्टिक्स, विमानन और शिपिंग, सूचना एवं संचार तकनीक, मीडिया, प्रकाशन, मनोरंजन उद्योग समेत रचनात्मक सेवा।