रिपोर्ट : अजीत कुमार
स्वराज इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष योगेंद्र यादव आगामी लोकसभा चुनाव में उम्मीदवार नहीं होंगे। यह बात उन्होंने रेवाड़ी में कार्यकर्ताओं की मीटिंग के बाद पत्रकारों से बात करते हुए कही। उन्होंने बताया की यह घोषणा वह दिसंबर के महीने में स्वराज इंडिया की ओर से iCan19 कार्यक्रम का श्रीगणेश करते हुए पहले ही कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि इस लोकसभा चुनाव के ऐतिहासिक महत्व को देखते हुए स्वराज इंडिया ने तय किया है कि वह इस चुनाव में कुर्सी पर बैठने की दौड़ में शामिल होने की बजाय दरी बिछाने का काम करेगी और चुनाव मैं किसान और नौजवानों के असली मुद्दे उठाने की भूमिका निभाएगी।
ज्ञात रहे कि पिछले कई वर्ष से योगेंद्र यादव के नेतृत्व में स्वराज इंडिया की टीम ने दक्षिण हरियाणा के किसानों के सरसों और बाजरे की फसल के ठीक भाव मिलने का आंदोलन, शराब के ठेकों के खिलाफ महिला का आंदोलन, मनेठी में एम्स खोलने का आंदोलन या बेरोजगारी के खिलाफ नौजवानों का आंदोलन इन सब में उन्होंने बढ़-चढ़कर शिरकत की है। योगेंद्र यादव ने कहा कि आजकल समाज में रिवाज चल गया है कि अगर कोई समाज के लिए कुछ काम करता है तो वह केवल चुनाव लड़ने और कुर्सी पर बैठने की नियत से ही करता है। कम से कम कुछ लोगों को तो इस विचार को गलत साबित करना चाहिए। उन्होंने यह भी बताया की चुनाव के बाद इलाके के लोगों के दुख सुख और जन आंदोलनों में भी और भी बढ़ चढ़कर हिस्सा लेंगे।
पुलवामा और भारतीय वायु सेना द्वारा स्ट्राइक के बाद इस सवाल पर हो रही राजनीति पर चिंता व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा के प्रश्न पर देश में एक राष्ट्रीय सहमति बननी चाहिए ना तो विपक्ष इस सवालों पर आलोचना करें और ना ही सत्तारूढ़ दल इसका श्रेय लेने की कोशिश करें। दुर्भाग्यवश इस सवाल पर राजनीति की पहल स्वयं प्रधानमंत्री और सत्तारूढ़ दल कर रहा है शहीदों की फोटो लगाकर चुनावी रैलियां हो रही है इस मुद्दे से कितनी सीटें मिलेंगी इसकी गिनती हो रही है फौजी वर्दी पहन के राजनीतिक नौटंकी हो रही है। उन्होंने कहा कि मोदी जी तय कर ले कि आप आतंक के विरुद्ध युद्ध लड़ रहे हैं या चुनाव लड़ रहे हैं या की युद्ध की ओट में वोट मांग रहे हैं। उन्होंने आह्वान किया कि आतंकियों के मंसूबों को विफल करने के लिए भारत की जनता क चुनाव में अतंकियों को नजरअंदाज करते हुए किसानों और बेरोजगारी जैसे असली मुद्दों पर के आधार पर वोट देना चाहिए।
हरियाणा विधानसभा चुनाव में स्वराज इंडिया की भूमिका के बारे में उन्होंने कहा कि इस बाबत घोषणा तभी की जा सकेगी जब पता लग जाए कि क्या विधानसभा चुनाव लोकसभा चुनाव के साथ हो रहा है या नहीं।