शासन और लोक प्रशासन को अनिवार्य रूप से वंचित समुदायों तक पहुंचने का माध्‍यम बनना चाहिए: उपराष्‍ट्रपति

 


 



 


उपराष्‍ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने कहा कि शासन और लोक प्रशासन को अनिवार्य रूप से वंचित समुदायों तक पहुंचने का माध्‍यम बनना चाहिए। उन्‍होंने जोर देकर कहा कि निर्धनों में निर्धनतम का उत्‍थान करना और समाज के सीमांत वर्गों को अधिकारसंपन्‍न करना राष्‍ट्रीय विकास के महत्‍वपूर्ण तत्‍व हैं।


उपराष्‍ट्रपति ने दिल्‍ली में स्‍व पी एस कृष्‍णन की शोक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि कृष्‍णन जैसे प्रशासनिक अधिकारियों ने यह सुनिश्चित किया कि संवैधानिक प्रावधानों और लोक केंन्द्रित नीतियों का लोगों के कल्‍याण के लिए कार्यान्‍वयन किया जाए।


उपराष्‍ट्रपति ने स्‍व पी एस कृष्‍णन का वर्णन मौलिक अधिकारों की सुरक्षा में दृढ़ विश्‍वास रखने वाले के रूप में किया जिसने सामाजिक न्‍याय और महिलाओं को अधिकारसंपन्‍न बनाना सुनिश्चित किया। उन्‍होंने कहा कि कृष्‍णन का लोगों को अधिकारसंपन्‍न बनाने के प्रति प्रतिबद्धता और उत्‍साह प्रेरणादायी था।


उपराष्‍ट्रपति ने आंध्र प्रदेश संवर्ग में भारतीय प्रशासनिक सेवा के रूप में स्‍व कृष्‍णन के दीर्घकालिक एवं विशिष्‍ट सेवाकाल में उनके योगदान एवं प्रयासों की सराहना की।


इस अवसर पर उपराष्‍ट्रपति ने संविधान (65वां) संशोधन अधिनियम, 1990 जैसे महत्‍वपूर्ण विधान में कृष्‍णन की भूमिका का स्‍मरण किया। उपराष्‍ट्रपति ने कृष्‍णन की पत्‍नी एवं उनके परिवार के अन्‍य सदस्‍यों से मुलाकात की एवं सहानुभूति प्रकट की।